Hindi News 18 :- पिछले दिनों हुई बारिश से गेहूं और दूसरी फसलों पर किसी तरह के असर नहीं दिख रहा है। देशभर के अलग-अलग राज्यों में करीब 95 प्रतिशत गेहूं की फसल काट ली गई हैं | कृषि मंत्रालय के अधिकारियों की तरफ से यह जानकारी दी गई। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) की तरफ से की गई भविष्यवाणी में बताया गया कि ताजा पश्चिमी विक्षोभ के कारण कई राज्यों में बारिश और ओलावृष्टि जारी रहेगी। IMD के अनुसार, 18-21 अप्रैल के बीच एक ताजे पश्चिमी विक्षोभ की तरफ से उत्तर पश्चिम भारत को प्रभावित करने की संभावना है।
गेहूं की करीब 95 प्रतिशत गेहूं की फसल काट ली गई हैं
गेहूं की फसल पर ताजा पश्चिमी विक्षोभ के संभावित प्रभाव पर आईसीएआर-भारतीय गेहूं और जौ अनुसंधान संस्थान के निदेशक ज्ञानेंद्र सिंह ने कहा, ‘आने वाले दिनों में इन राज्यों में संभावित बारिश या तूफान से फसल पर कोई असर नहीं पड़ेगा। इस समय चिंता करने की कोई ज़रूरत नहीं है।’
उन्होंने कहा कि पंजाब और हरियाणा में गेहूं की कटाई अभी शुरू हुई है। सिंह ने कहा, ‘एक सप्ताह के अंदर, दोनों राज्यों में करीब 95 प्रतिशत गेहूं की फसल काट ली जाएगी। कटाई तेजी से की जाती है क्योंकि किसान कंबाइन हार्वेस्टिंग मशीनों का उपयोग करते हैं। इस तरह हम काफी बेहतर स्थिति में हैं।’
इस बार उत्पादन काफी अच्छा रहेगा
ICAR-IIWBR के निदेशक ने कहा कि इस बार उत्पादकता का स्तर काफी अच्छा है, जिससे फसल वर्ष 2023-24 (जुलाई-जून) में 11।4 करोड़ टन का रिकॉर्ड गेहूं उत्पादन हुआ है।
देर से बोई गई गेहूं की फसल, जो इस साल कुल तीन करोड़ 41।5 लाख हेक्टेयर रकबे के 15 प्रतिशत भाग में बोई गई है, एक सप्ताह के समय में कटाई के लिए तैयार हो जाएगी। उन्होंने कहा कि यह फसल अच्छी तरह से परिपक्व हो गई है।
चावल की फसल को भी फायदा मिलेगा
इसके अलावा पूर्वी बिहार, पूर्वोत्तर असम, रायलसीमा और दक्षिण तमिलनाडु पर बने एक चक्रवाती परिसंचरण के कारण अलग-अलग स्थानों पर भारी बारिश, आंधी के साथ बिजली गिरने का भी खतरा है।
कृषि आयुक्त पी के सिंह ने बताया, ‘फिलहाल, बारिश के कारण गेहूं और अन्य फसलों को नुकसान की किसी तरह की रिपोर्ट नहीं है। वास्तव में इस बारिश से चावल जैसी जायद (ग्रीष्मकालीन) फसलों को मदद मिलेगी।’